किसान का दर्द कविता !! Pain Of Farmer Poetry In Hindi
Kisan Ka Dard Hindi Kavita
किसान जो हमारे देश व जीवन को आकार देने वालो में सबसे ऊपर होते है और किसानो की मेहनत के कारण ही हम सबको अनाज मिल पाता है और हम भोजन ग्रहण कर पाते है.. लेकिन जो किसान हम सब के लिए अनाज का उत्पादन करता है वही किसान अपनी फसल के कारण कई बार परेशानियों का सामना करता है.
तो इस आर्टिकल में हम आपके साथ किसान के दर्द को बयाँ करने वाली कविता Share कर रहे है जो आपको जरुर पसंद आएगी तो इस Post को अंत तक जरुर पढ़े और शेयर करे.
देश का पेट भरने वाला, मैं देश का अभिमान हूँ,
खेत मेरा आशियाना और इस मिट्टी की मैं पहचान हूँ,
बैल मेरे साथी है औऱ हल का मैं सार्थीन हूँ,
कड़कती धूप में पसीना बहाता,
मैं एक किसान हूँ।।
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मेरी मेहनत का मुझे सही दाम नही मिलता,
मुझे लूटने से लोगो को आराम नही मिलता,
मेरी कमाई से भरती है उनकी तिजोरी,
मगर मुझको कभी सलाम नही मिलता।
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उनकी सेवाओं में लगा रहता हूँ रात दिन,
मैं अपनी मिट्टी का एक लोता स्वाभिमान हूँ,
हाँ मैं कर्ज में डूबता हुआ एक किसान हूँ।।
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जो चाहिए मुझे सरकार से वो मुझे मिल नही पाता,
मेरा नन्हा पौधा आंधी, तूफान बारिश सह नही पाता,
मैं राजा हूँ बोता हूँ आसाओं के बीज जमीं पर,
लेकिन इस दुनिया की लालच से बेहद परेशान हूँ,
हाँ मैं कर्ज में डूबता हुआ एक किसान हूँ।।
~ पारस बिर्ला (मप्र)
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This Poetry Sharing By Paras Birla From Madhya Pradesh . Thankyou paras Birla Ji Your Poetry About Kisan.
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kisan hamari jaan hai wahi hamara man hai